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White प्राण गेल्यावरही "नेत्र" चार तास जिवंत असतात या चार तासात आपल्या माणसांची वागणूक पाहून प्राणशून्य देहाला "मरण" म्हणजे खुप मोठं गिफ्ट वाटत असेल..... ईश्वरी ©Eshwari

#मरण #Quotes  White प्राण गेल्यावरही "नेत्र" चार तास जिवंत असतात
 या चार तासात आपल्या माणसांची वागणूक पाहून 
प्राणशून्य  देहाला "मरण" म्हणजे 
खुप  मोठं गिफ्ट वाटत असेल.....

            ईश्वरी

©Eshwari

#मरण एक आनंद

12 Love

रचना दिनांक 24,, नवम्बर 2024, वार। रविवार,, समय सुबह दस बजे ्््भावचित्र ्् ््निज विचार ्् ््शीर्षक ्् ््छाया चित्र में दिखाया गया फूलों से महकते रहे कला संस्कृति साहित्य और कला धर्मी रचनाकार , शब्द शिल्पी कलाकृति मुर्तिकार चित्रकार की, तुलिका से सजाया गया विचार सच है ्््निज विचार ््््भावचित्र ्् कलाधर्मी््् ््शब्द साधिका कलाप्रेमी शब्द मनिषी ््् ््््निजविचार ््् बहुत सुंदर बहुत खुब सिद्धांत सुविधाएं मांगे साक्ष्य सब कुछ उपलब्ध है ,, ,,पत्थर को तराशती तोड़ती पत्थर से निकलते झैनी और हथौड़ी से आकर प्रकार निर्राकार।। आकारहीन हवाओं में रहते,, मन से कलम दवात कागज पर लिखकर ,।। चित्र को चित्रकार,और मूर्ति को मूर्तिकार रचना संवरचनाकी धर्मी रचनाकार कवित्व शक्ति से रूबरू होकर नक्काशी वाले ,, शब्दशिल्पी अपने विचार प्रकार,,मीनु,, अलग अलग गुणों से भरपूर होते हैं ।। जो कला साहित्य विज्ञान कर्म मर्मज्ञ शब्द साधिका है ,, सुर्य के भांति संसार में जगत में चमक रही है।। ््् कवि शैलेंद्र आनंद ््् 24,,11,,2024,, ©Shailendra Anand

#विचार  रचना दिनांक 24,, नवम्बर 2024,
वार।  रविवार,,
समय सुबह दस बजे
्््भावचित्र ््
््निज विचार ््
््शीर्षक ््
््छाया चित्र में दिखाया गया फूलों से महकते रहे
कला संस्कृति साहित्य और कला धर्मी रचनाकार ,
शब्द शिल्पी कलाकृति मुर्तिकार चित्रकार की, तुलिका से सजाया गया विचार सच है ्््निज विचार
््््भावचित्र ््
कलाधर्मी्््
््शब्द साधिका कलाप्रेमी शब्द मनिषी ्््
              ््््निजविचार ्््
बहुत सुंदर बहुत खुब सिद्धांत सुविधाएं मांगे साक्ष्य सब कुछ उपलब्ध है ,,
,,पत्थर को तराशती तोड़ती पत्थर से निकलते झैनी और हथौड़ी से आकर प्रकार निर्राकार।। आकारहीन हवाओं में रहते,,
 मन से कलम दवात कागज पर लिखकर ,।।
चित्र को चित्रकार,और मूर्ति को मूर्तिकार
रचना संवरचनाकी धर्मी रचनाकार कवित्व शक्ति से रूबरू होकर नक्काशी वाले ,,
शब्दशिल्पी अपने विचार प्रकार,,मीनु,, अलग अलग गुणों से भरपूर होते हैं ।।
जो कला साहित्य विज्ञान कर्म मर्मज्ञ शब्द साधिका है ,,
सुर्य के भांति संसार में जगत में चमक रही है।। 
             ््् कवि शैलेंद्र आनंद ्््
24,,11,,2024,,

©Shailendra Anand

'अच्छे विचार' ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

13 Love

भावचित्र ्् निज विचार ्् ््शीर्षक ्् ््मन की व्यथा ्् सुंदर रचना सुंदर लेखन रचना है ,, संवरचनाकी से कलम दवात कागज पर लिखकर चित्र बहुत दिल में उतर गया। मेरे मित्र आपके जस्बात से जन्मा विचार सच है,, धन्यवाद् राम में ही आवृत्ति प्रवृत्ति निरन्तर प्रगति विरोध समर्थन दोनों ही आनंद दे सकता है ।। मैं सोच रहा हूं, मैं आपके साथ खड़ा हूं। मसला मक्ता जेहन से अपना रिश्ता अनमोल वचन क्षण पल है ,, सूर्य चंद्र दर्शन सपनो में प्यार अमर उजाला है।। मन खटृटा करने से कुछ बिगड़ने वाला नहीं है,, आप आगे बढ़ो हम दिलों से सजाया गया, भाव भंगिमा इच्छा शक्ति प्रेम शब्द ग़ज़ल में , एक स्वर पुकार नाद प्रेम शब्द है ।। राम नाम सुखदाई है तो देश दुनिया सुनती हैं,, आनंद भयो जग में जगदीश्वरी मां शब्दों में।। ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद ्् 22,, नवम्बर 2024 ©Shailendra Anand

#विचार  भावचित्र ््
निज विचार ््
               ््शीर्षक ््
                ््मन की व्यथा ््
सुंदर रचना सुंदर लेखन रचना है ,,
संवरचनाकी से कलम दवात कागज पर लिखकर चित्र बहुत दिल में उतर गया।
 मेरे मित्र आपके जस्बात से जन्मा विचार सच है,, धन्यवाद् राम में ही आवृत्ति प्रवृत्ति निरन्तर प्रगति विरोध समर्थन दोनों ही आनंद दे सकता है ।।
मैं सोच रहा हूं,
 मैं आपके साथ खड़ा हूं।
मसला मक्ता जेहन से अपना रिश्ता अनमोल वचन क्षण पल है ,,
सूर्य चंद्र दर्शन सपनो में प्यार अमर उजाला है।।
 मन खटृटा करने से कुछ बिगड़ने वाला नहीं है,,
  आप आगे बढ़ो हम दिलों से सजाया गया,
 भाव भंगिमा इच्छा शक्ति प्रेम शब्द ग़ज़ल में ,
एक स्वर पुकार नाद प्रेम शब्द है ।।
राम नाम सुखदाई है तो देश दुनिया सुनती हैं,, आनंद भयो जग में जगदीश्वरी मां शब्दों में।।
             ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद ््
22,, नवम्बर 2024

©Shailendra Anand

आज का विचार ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

11 Love

रचना दिनांक,,,15,, नवम्बर,,2024 वार,,,, शुक्रवार समय सुबह दस बजे ्््निज विचार ््् ््भावचित्र ््निज विचार ्् ्भावचित्र ् ्शीर्षक ् ््दर्द ऐं ग़म पर जमाना हंसेगा, फ़कत अश्क आंखों में हमको छुपाना पड़ा्् कहे तो जाने अंजाने में,, आंखें यूंही बदनाम हो गई ्् प्यार करने वाले खूद ही खुद से,, सवाल जवाब बन गये।।1 ।। जो प्यार नहीं करते है वो प्यार के,, मायने क्या समझेगे।।2 ।। वो बस झुठे किस्से ख्याली पुलाव,, बनाने वाले होते हैं ।।3 ।। जिन्हें किसी की मोहब्बत भरी नज़रों से,, ना था कोई वास्ता ना,ही, कोई रिश्ता नाता, बस वो ग़म ऐं द़र्द पर जिंदगी के मज़ाक उड़ाते हैं।।4 ।। वो लफ्जो का मोल अश्कों का तोल ,, और मेरे प्यारे नयनों में ढलकते अश्कों के छुपने का प्रहर।।5 ।। मेरी मुस्कान मन्द अधर पर ले उड़े होश का आनंद लें,, जो कोमल सा गुलाबी से लाल हो,प्यारी सी जीवन शैली ।।6 ।। शैलेंद्र आनंद की सज गई तस्वीर,, मेरे प्यार की रंगत इस ज़माने में।।7 ।। ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद ©Shailendra Anand

#मोटिवेशनल  रचना दिनांक,,,15,, नवम्बर,,2024
वार,,,, शुक्रवार
समय  सुबह   दस  बजे 
्््निज विचार ्््
््भावचित्र ््निज विचार ््
्भावचित्र ्
्शीर्षक ्
््दर्द ऐं ग़म पर जमाना हंसेगा,
फ़कत अश्क आंखों में हमको छुपाना पड़ा््
         कहे तो जाने अंजाने में,,
आंखें यूंही बदनाम हो गई ््
प्यार करने वाले खूद ही खुद से,,
 सवाल जवाब बन गये।।1 ।।
जो प्यार नहीं करते है वो प्यार के,,
 मायने क्या समझेगे।।2 ।।
वो बस झुठे किस्से ख्याली पुलाव,,
बनाने वाले होते हैं ।।3 ।।
जिन्हें किसी की मोहब्बत भरी नज़रों से,,
ना था कोई वास्ता ना,ही, कोई रिश्ता नाता,
बस वो ग़म ऐं द़र्द पर जिंदगी के मज़ाक उड़ाते हैं।।4 ।।
वो लफ्जो का मोल अश्कों का तोल ,,
और मेरे प्यारे नयनों में ढलकते अश्कों के 
छुपने का प्रहर।।5 ।।
 मेरी मुस्कान मन्द अधर पर ले उड़े होश का आनंद लें,,
 जो कोमल सा गुलाबी से लाल हो,प्यारी सी जीवन शैली ।।6 ।।
शैलेंद्र आनंद की सज गई तस्वीर,,
 मेरे प्यार की रंगत इस ज़माने में।।7 ।।
            ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

©Shailendra Anand

सायरी मोटिवेशन ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

11 Love

#मोटिवेशनल

इस दिवाली अपने व अपने परिवार को आज ही दीजिये फाइनेंनशियल प्रोटेक्शन व समृद्ध भविष्य के लिए एलआईसी की पॉलिसी का एक शानदार गिफ्ट ! बचत | सुरक्

162 View

बहुत मित्र कभी नहीं होते मित्र जीवन में कम ही हो सकते है पहचान बहुतों से हो सकती है सहजता बहुतों से हो सकती है पहचान दुनिया से हो सकती है उससे कम लोगो से संबंध हो सकते है उससे और कम लोगो से मित्रता हो सकती है उससे और कम लोगो पर विश्वास हो सकता है उससे भी और कम लोगो से प्रेम हो सकता है ऐसा प्रेम स्थायी और अनंत होता है जो जीवन की किसी परिस्थिति में समाप्त नहीं होता । ©seema patidar

#Bhakti  बहुत मित्र कभी नहीं होते 
मित्र जीवन में कम ही हो सकते है
पहचान बहुतों से हो सकती है
सहजता बहुतों से हो सकती है
पहचान दुनिया से हो सकती है
उससे कम लोगो से संबंध हो सकते है
उससे और कम लोगो से मित्रता हो सकती है
उससे और कम लोगो पर विश्वास हो सकता है
उससे भी और कम लोगो से प्रेम हो सकता है
ऐसा प्रेम स्थायी और अनंत होता है
जो जीवन की किसी परिस्थिति में समाप्त नहीं होता ।

©seema patidar

आनंद पथ

13 Love

White प्राण गेल्यावरही "नेत्र" चार तास जिवंत असतात या चार तासात आपल्या माणसांची वागणूक पाहून प्राणशून्य देहाला "मरण" म्हणजे खुप मोठं गिफ्ट वाटत असेल..... ईश्वरी ©Eshwari

#मरण #Quotes  White प्राण गेल्यावरही "नेत्र" चार तास जिवंत असतात
 या चार तासात आपल्या माणसांची वागणूक पाहून 
प्राणशून्य  देहाला "मरण" म्हणजे 
खुप  मोठं गिफ्ट वाटत असेल.....

            ईश्वरी

©Eshwari

#मरण एक आनंद

12 Love

रचना दिनांक 24,, नवम्बर 2024, वार। रविवार,, समय सुबह दस बजे ्््भावचित्र ्् ््निज विचार ्् ््शीर्षक ्् ््छाया चित्र में दिखाया गया फूलों से महकते रहे कला संस्कृति साहित्य और कला धर्मी रचनाकार , शब्द शिल्पी कलाकृति मुर्तिकार चित्रकार की, तुलिका से सजाया गया विचार सच है ्््निज विचार ््््भावचित्र ्् कलाधर्मी््् ््शब्द साधिका कलाप्रेमी शब्द मनिषी ््् ््््निजविचार ््् बहुत सुंदर बहुत खुब सिद्धांत सुविधाएं मांगे साक्ष्य सब कुछ उपलब्ध है ,, ,,पत्थर को तराशती तोड़ती पत्थर से निकलते झैनी और हथौड़ी से आकर प्रकार निर्राकार।। आकारहीन हवाओं में रहते,, मन से कलम दवात कागज पर लिखकर ,।। चित्र को चित्रकार,और मूर्ति को मूर्तिकार रचना संवरचनाकी धर्मी रचनाकार कवित्व शक्ति से रूबरू होकर नक्काशी वाले ,, शब्दशिल्पी अपने विचार प्रकार,,मीनु,, अलग अलग गुणों से भरपूर होते हैं ।। जो कला साहित्य विज्ञान कर्म मर्मज्ञ शब्द साधिका है ,, सुर्य के भांति संसार में जगत में चमक रही है।। ््् कवि शैलेंद्र आनंद ््् 24,,11,,2024,, ©Shailendra Anand

#विचार  रचना दिनांक 24,, नवम्बर 2024,
वार।  रविवार,,
समय सुबह दस बजे
्््भावचित्र ््
््निज विचार ््
््शीर्षक ््
््छाया चित्र में दिखाया गया फूलों से महकते रहे
कला संस्कृति साहित्य और कला धर्मी रचनाकार ,
शब्द शिल्पी कलाकृति मुर्तिकार चित्रकार की, तुलिका से सजाया गया विचार सच है ्््निज विचार
््््भावचित्र ््
कलाधर्मी्््
््शब्द साधिका कलाप्रेमी शब्द मनिषी ्््
              ््््निजविचार ्््
बहुत सुंदर बहुत खुब सिद्धांत सुविधाएं मांगे साक्ष्य सब कुछ उपलब्ध है ,,
,,पत्थर को तराशती तोड़ती पत्थर से निकलते झैनी और हथौड़ी से आकर प्रकार निर्राकार।। आकारहीन हवाओं में रहते,,
 मन से कलम दवात कागज पर लिखकर ,।।
चित्र को चित्रकार,और मूर्ति को मूर्तिकार
रचना संवरचनाकी धर्मी रचनाकार कवित्व शक्ति से रूबरू होकर नक्काशी वाले ,,
शब्दशिल्पी अपने विचार प्रकार,,मीनु,, अलग अलग गुणों से भरपूर होते हैं ।।
जो कला साहित्य विज्ञान कर्म मर्मज्ञ शब्द साधिका है ,,
सुर्य के भांति संसार में जगत में चमक रही है।। 
             ््् कवि शैलेंद्र आनंद ्््
24,,11,,2024,,

©Shailendra Anand

'अच्छे विचार' ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

13 Love

भावचित्र ्् निज विचार ्् ््शीर्षक ्् ््मन की व्यथा ्् सुंदर रचना सुंदर लेखन रचना है ,, संवरचनाकी से कलम दवात कागज पर लिखकर चित्र बहुत दिल में उतर गया। मेरे मित्र आपके जस्बात से जन्मा विचार सच है,, धन्यवाद् राम में ही आवृत्ति प्रवृत्ति निरन्तर प्रगति विरोध समर्थन दोनों ही आनंद दे सकता है ।। मैं सोच रहा हूं, मैं आपके साथ खड़ा हूं। मसला मक्ता जेहन से अपना रिश्ता अनमोल वचन क्षण पल है ,, सूर्य चंद्र दर्शन सपनो में प्यार अमर उजाला है।। मन खटृटा करने से कुछ बिगड़ने वाला नहीं है,, आप आगे बढ़ो हम दिलों से सजाया गया, भाव भंगिमा इच्छा शक्ति प्रेम शब्द ग़ज़ल में , एक स्वर पुकार नाद प्रेम शब्द है ।। राम नाम सुखदाई है तो देश दुनिया सुनती हैं,, आनंद भयो जग में जगदीश्वरी मां शब्दों में।। ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद ्् 22,, नवम्बर 2024 ©Shailendra Anand

#विचार  भावचित्र ््
निज विचार ््
               ््शीर्षक ््
                ््मन की व्यथा ््
सुंदर रचना सुंदर लेखन रचना है ,,
संवरचनाकी से कलम दवात कागज पर लिखकर चित्र बहुत दिल में उतर गया।
 मेरे मित्र आपके जस्बात से जन्मा विचार सच है,, धन्यवाद् राम में ही आवृत्ति प्रवृत्ति निरन्तर प्रगति विरोध समर्थन दोनों ही आनंद दे सकता है ।।
मैं सोच रहा हूं,
 मैं आपके साथ खड़ा हूं।
मसला मक्ता जेहन से अपना रिश्ता अनमोल वचन क्षण पल है ,,
सूर्य चंद्र दर्शन सपनो में प्यार अमर उजाला है।।
 मन खटृटा करने से कुछ बिगड़ने वाला नहीं है,,
  आप आगे बढ़ो हम दिलों से सजाया गया,
 भाव भंगिमा इच्छा शक्ति प्रेम शब्द ग़ज़ल में ,
एक स्वर पुकार नाद प्रेम शब्द है ।।
राम नाम सुखदाई है तो देश दुनिया सुनती हैं,, आनंद भयो जग में जगदीश्वरी मां शब्दों में।।
             ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद ््
22,, नवम्बर 2024

©Shailendra Anand

आज का विचार ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

11 Love

रचना दिनांक,,,15,, नवम्बर,,2024 वार,,,, शुक्रवार समय सुबह दस बजे ्््निज विचार ््् ््भावचित्र ््निज विचार ्् ्भावचित्र ् ्शीर्षक ् ््दर्द ऐं ग़म पर जमाना हंसेगा, फ़कत अश्क आंखों में हमको छुपाना पड़ा्् कहे तो जाने अंजाने में,, आंखें यूंही बदनाम हो गई ्् प्यार करने वाले खूद ही खुद से,, सवाल जवाब बन गये।।1 ।। जो प्यार नहीं करते है वो प्यार के,, मायने क्या समझेगे।।2 ।। वो बस झुठे किस्से ख्याली पुलाव,, बनाने वाले होते हैं ।।3 ।। जिन्हें किसी की मोहब्बत भरी नज़रों से,, ना था कोई वास्ता ना,ही, कोई रिश्ता नाता, बस वो ग़म ऐं द़र्द पर जिंदगी के मज़ाक उड़ाते हैं।।4 ।। वो लफ्जो का मोल अश्कों का तोल ,, और मेरे प्यारे नयनों में ढलकते अश्कों के छुपने का प्रहर।।5 ।। मेरी मुस्कान मन्द अधर पर ले उड़े होश का आनंद लें,, जो कोमल सा गुलाबी से लाल हो,प्यारी सी जीवन शैली ।।6 ।। शैलेंद्र आनंद की सज गई तस्वीर,, मेरे प्यार की रंगत इस ज़माने में।।7 ।। ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद ©Shailendra Anand

#मोटिवेशनल  रचना दिनांक,,,15,, नवम्बर,,2024
वार,,,, शुक्रवार
समय  सुबह   दस  बजे 
्््निज विचार ्््
््भावचित्र ््निज विचार ््
्भावचित्र ्
्शीर्षक ्
््दर्द ऐं ग़म पर जमाना हंसेगा,
फ़कत अश्क आंखों में हमको छुपाना पड़ा््
         कहे तो जाने अंजाने में,,
आंखें यूंही बदनाम हो गई ््
प्यार करने वाले खूद ही खुद से,,
 सवाल जवाब बन गये।।1 ।।
जो प्यार नहीं करते है वो प्यार के,,
 मायने क्या समझेगे।।2 ।।
वो बस झुठे किस्से ख्याली पुलाव,,
बनाने वाले होते हैं ।।3 ।।
जिन्हें किसी की मोहब्बत भरी नज़रों से,,
ना था कोई वास्ता ना,ही, कोई रिश्ता नाता,
बस वो ग़म ऐं द़र्द पर जिंदगी के मज़ाक उड़ाते हैं।।4 ।।
वो लफ्जो का मोल अश्कों का तोल ,,
और मेरे प्यारे नयनों में ढलकते अश्कों के 
छुपने का प्रहर।।5 ।।
 मेरी मुस्कान मन्द अधर पर ले उड़े होश का आनंद लें,,
 जो कोमल सा गुलाबी से लाल हो,प्यारी सी जीवन शैली ।।6 ।।
शैलेंद्र आनंद की सज गई तस्वीर,,
 मेरे प्यार की रंगत इस ज़माने में।।7 ।।
            ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

©Shailendra Anand

सायरी मोटिवेशन ्््कवि््शैलेन्द़ आनंद

11 Love

#मोटिवेशनल

इस दिवाली अपने व अपने परिवार को आज ही दीजिये फाइनेंनशियल प्रोटेक्शन व समृद्ध भविष्य के लिए एलआईसी की पॉलिसी का एक शानदार गिफ्ट ! बचत | सुरक्

162 View

बहुत मित्र कभी नहीं होते मित्र जीवन में कम ही हो सकते है पहचान बहुतों से हो सकती है सहजता बहुतों से हो सकती है पहचान दुनिया से हो सकती है उससे कम लोगो से संबंध हो सकते है उससे और कम लोगो से मित्रता हो सकती है उससे और कम लोगो पर विश्वास हो सकता है उससे भी और कम लोगो से प्रेम हो सकता है ऐसा प्रेम स्थायी और अनंत होता है जो जीवन की किसी परिस्थिति में समाप्त नहीं होता । ©seema patidar

#Bhakti  बहुत मित्र कभी नहीं होते 
मित्र जीवन में कम ही हो सकते है
पहचान बहुतों से हो सकती है
सहजता बहुतों से हो सकती है
पहचान दुनिया से हो सकती है
उससे कम लोगो से संबंध हो सकते है
उससे और कम लोगो से मित्रता हो सकती है
उससे और कम लोगो पर विश्वास हो सकता है
उससे भी और कम लोगो से प्रेम हो सकता है
ऐसा प्रेम स्थायी और अनंत होता है
जो जीवन की किसी परिस्थिति में समाप्त नहीं होता ।

©seema patidar

आनंद पथ

13 Love

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