क़ातिल STET2019
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आओ घावों से टपकता खून दिखाएं
तुमको तेरी करतूत और कानून दिखाएं
मार डाला है ख्वाब और अरमानों को
आओ कातिल के तुम्हें अवगुण दिखाएं
खून खंजर पे लगे ये जरुरी तो नहीं है
खंजर हाथों में दिखे ये भी जरुरी तो नहीं है
कई बेबस, बेसूध, बेहोश पड़ें है मकानों में
लाशें जलती ही मिलें ये जरूरी तो नहीं है
तुमने लफ्ज़ों से ही कई जान निकाले हैं
कईयों ने रो-रोकर ही अरमान निकाले है
ख्वाब टुट-टुटकर बिखरे तो क्या होता है
तुमने बिना समझे कई ऐलान निकाले हैं
खून का दा़ग हमारे न धूलेगा तुमसे
एक-एक दाग़ दिखाएगा जो मिलेगा तुमसे
©Qamar Abbas
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