वो एक पागल सी लड़की है,
जो मुझे हर कविता में लिखती है....
मुझे तुम याद करते हो.......
या तुम्हें मैं याद आती हूं.....
मेरी बातें सताती हैं,
मेरी नींदे जगाती हैं,
मेरी आँखें रुलाती हैं...
दिसम्बर कि सुनहरी धुप में अब भी टहलते हो,
किसी खामोश रस्ते से कोई आवाज़ आती है.....
ठिठूरते सर्द रातों में क्या तुम अब भी छत में जाते हो,
आसमान के सब सितारों को मेरी बातें सुनाते हो,
किताबों से तुम्हारी इश्क़ में क्या कोई कमी आयी,
या मेरी याद कि सिद्द्त से आँखों में नमी आयी,
वो एक पागल सी लड़की है,
जो मुझे हर कविता में लिखती है..!!
©Khyali Joshi
Continue with Social Accounts
Facebook Googleor already have account Login Here