Shoheb alam shayar jaipuri

Shoheb alam shayar jaipuri Lives in Jaipur, Rajasthan, India

thokre bhut milegi raho me gir ke uthna seekh par to koi bhi kaat sakta hai hoslo se udna seekh

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White सफर मोहब्बत का नाकाम हो गया इस दिल का बहुत नुकसान हो गया अब किसी चीज़ की मेरे पास कोई कमी नहीं मेरे उदास रहने का बहुत सामान हो गया अब किस्से तज़कीरा करे ईमानदारी का यहां तो सार शहर बईमान हो गया उसी ने फायदा उठाया मेरी बेबसी का जो मेरा कभी हमराज हो गया उसने कभी भी पलट कर मनाया ही नही मैं कभी जिससे भी नाराज़ हो गया मैं अपनी हिम्मत से उठ कर बैठ क्या गया लोग समझने लगे तबियत में आराम हो गया आप का इस तरहां का रवैया देख कर मैं सच में बहुत हैरान हो गया ये सिर्फ तसल्ली देने के लिए काफी नही जो होना था वो नुकसान हो गया आप को इस बात से क्या गरज मेरा मोहब्बत में नुक्सान हो गया ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #sad_quotes  White 
सफर मोहब्बत का नाकाम हो गया
इस दिल का बहुत नुकसान हो गया 

अब किसी चीज़ की मेरे पास कोई कमी नहीं
मेरे उदास रहने का बहुत सामान हो गया

अब किस्से तज़कीरा करे ईमानदारी का
यहां तो सार शहर बईमान हो गया

उसी ने फायदा उठाया मेरी बेबसी का
जो मेरा कभी हमराज हो गया 

उसने कभी भी पलट कर मनाया ही नही
मैं कभी जिससे भी नाराज़ हो गया

मैं अपनी हिम्मत से उठ कर बैठ क्या गया
लोग समझने लगे तबियत में आराम हो गया

आप का इस तरहां का रवैया देख कर
मैं सच में बहुत हैरान हो गया

ये सिर्फ तसल्ली देने के लिए काफी नही
जो होना था वो नुकसान हो गया

आप को इस बात से क्या गरज 
मेरा मोहब्बत में नुक्सान हो गया

©Shoheb alam shayar jaipuri

#sad_quotes शायरी दर्द

13 Love

White ऐ जिंदगी तूभी मज़ाक करती है मज़ा जीने का मेरे खराब करती है कभी मोहब्बत में मुब्तिला करती है मुझे कभी मोहब्बत को मेरे लिए अजाब करती है नजाने क्या चाहती है ये जिंदगी मुझसे नजाने कौन सा मुझसे हिसाब करती है कभी रुलाती है बेपनाह मुझे ये जिंदगी कभी हंसा कर उदास करती है कभी लगाती है लत गुनाहों की फिर जिंदगी बे नक़ाब करती है ऐ जीने वालों जरा होशियार रहो ये जिंदगी जीना हराम करती है सांसे तो देती है ये जिंदगी मुझको फिर उन्हीं सांसों को बेकरार करती है कभी मिलेगी तो पूछूंगा उससे ऐ जिंदगी तू क्यूं मज़ाक करती है ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #GoodNight  White ऐ जिंदगी तूभी मज़ाक करती है
मज़ा जीने का मेरे खराब करती है

कभी मोहब्बत में मुब्तिला करती है मुझे
कभी मोहब्बत को मेरे लिए अजाब करती है

नजाने क्या चाहती है ये जिंदगी मुझसे
नजाने कौन सा मुझसे हिसाब करती है

कभी रुलाती है बेपनाह मुझे ये जिंदगी
कभी हंसा कर उदास करती है

कभी लगाती है लत गुनाहों की 
फिर जिंदगी बे नक़ाब करती है

ऐ जीने वालों जरा होशियार रहो
ये जिंदगी जीना हराम करती है

सांसे तो देती है ये जिंदगी मुझको
फिर उन्हीं सांसों को बेकरार करती है

कभी मिलेगी तो पूछूंगा उससे
ऐ जिंदगी तू क्यूं मज़ाक करती है

©Shoheb alam shayar jaipuri

#GoodNight शेरो शायरी

14 Love

White आंखों से ख्वाब के रिश्ते नही रहे यानी के मेरा ख़्वाब अधूरा ही रह गया रिश्तों को उम्र भर जो सदा तोड़ता रहा अंजाम ये हुआ के वो अकेला ही रह गया आंखो का मेरी कोई तो अब तजकिरा करो आंखों का मेरे इश्क अधुरा ही रह गया ऐसा नहीं के खत मैं कभी लिख नही सका इंकार जब मिला तो खत अधूरा ही रह गया अंजाम मेरी मोहब्बत का अब देखिए जनाब किताबो में मेरी फूल बस सूखा ही रह गया तोहमत अब उसको दे के भी फायदा है क्या किस्मत का तारा जब मेरी डूबा ही रह गया मोहब्बत का रंग मेरी चढ़ता भी क्यूं भला हर रंग मेरी मोहब्बत जब फीका ही रह गया ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #sad_shayari  White आंखों से ख्वाब के रिश्ते नही रहे
यानी के मेरा ख़्वाब अधूरा ही रह गया

रिश्तों को उम्र भर जो सदा तोड़ता रहा
अंजाम ये हुआ के वो अकेला ही रह गया

आंखो का मेरी कोई तो अब तजकिरा करो
आंखों का मेरे इश्क अधुरा ही रह गया

ऐसा नहीं के खत मैं कभी लिख नही सका
इंकार जब मिला तो खत अधूरा ही रह गया

अंजाम मेरी मोहब्बत का अब देखिए जनाब
किताबो में मेरी फूल बस सूखा ही रह गया

तोहमत अब उसको दे के भी फायदा है क्या
किस्मत का तारा जब मेरी डूबा ही रह गया

मोहब्बत का रंग मेरी चढ़ता भी क्यूं भला
हर रंग मेरी मोहब्बत जब फीका ही रह गया

©Shoheb alam shayar jaipuri

#sad_shayari 'दर्द भरी शायरी'

12 Love

White मेरे घर में तमाम रौनक हो काश आए हवा मदीने की मैं भी देखू वो गुंबदे खजरा काश हाजरी हो वहा कमीने की तब यकीनन शिफा मिलेगी मुझे काश मिले मुझको दवा मदीने की मेरे आका करम इधर भी हो मैं भी देखूं फिज़ा मदीने की मैं हु बीमार एक मुद्दत से मुझको देदो शिफा मदीने की मैं भी महकू तमाम आलम में खुशबू देदो ज़रा पसीने की ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #eid_mubarak  White मेरे घर में तमाम रौनक हो
काश आए हवा मदीने की

मैं भी देखू वो गुंबदे खजरा
काश हाजरी हो वहा कमीने की

तब यकीनन शिफा मिलेगी मुझे
काश मिले मुझको दवा मदीने की

मेरे आका करम इधर भी हो
मैं भी देखूं फिज़ा मदीने की

मैं हु बीमार एक मुद्दत से
मुझको देदो शिफा मदीने की

मैं भी महकू तमाम आलम में
खुशबू देदो ज़रा पसीने की

©Shoheb alam shayar jaipuri

#eid_mubarak शायरी

8 Love

#शायरी #love_qoutes  White उन दिनों जब मोहब्बत का साथ हुआ करता था
तमाम गजलें तेरे रुखसार पर कहा करता था

वैसे तो बहुत लुकनत थी मेरी जुबान में
पर तेरा नाम बे झिझक लिया करता था

किसिकी झूठी मोहब्बत में शायद तू भूल गई
तुझको पाने का मेरा भी एक ख्वाब हुआ करता था

मोहब्बत के वो हसीन लम्हे याद कर
मैं तेरे लिए कितना बेकरार हुआ करता था

घर के दरों दीवार और दरवाजों से पूछ लो
बस रात दिन तेरा ही इंतजार हुआ करता था

सामने तेरी तस्वीर रख कर तेरी कसम
बस यूं ही हर रोज़ तेरा दीदार हुआ करता था

©Shoheb alam shayar jaipuri

#love_qoutes लव शायरी

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#शायरी #Sad_Status  White ज़रा शौक़ से मेरे जायके को अगर चखा होता
मेरा यकीन कर मैं तेरी ज़ुबान से नही जाता

हमेशा हामेश रहता मैं तेरे दिल के अंदर
मैं कभी तेरे दिल के मकान से नही जाता

फूल बन कर मैं तेरे आस पास ही रहता
मैं चाह कर भी तेरे गुलदान से नही जाता

मुस्कुरा कर अगर जंग में जाने की इज़ाजत दी होती
मेरा वादा था मैं जान से नही जाता

फायदे मंद अगर नही होती तेरे जिस्म के लिए
मैं धूप बन कर कभी आसमान से नही आता

मैंने रट लिया है तुम्हे एक गज़ल की तरहां 
अब तेरा नाम मेरी ज़ुबान से नही जाता

मेरे ज़हन में तुम इस तरहां छा गई हो
अब तेरा ध्यान भी मेरे ध्यान से नही जाता

©Shoheb alam shayar jaipuri

#Sad_Status शेरो शायरी

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