Shoheb alam shayar jaipuri

Shoheb alam shayar jaipuri Lives in Jaipur, Rajasthan, India

thokre bhut milegi raho me gir ke uthna seekh par to koi bhi kaat sakta hai hoslo se udna seekh

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White अभी सूरज नहीं डूबा ज़रा सी शाम होने दो अभी ठहरो इन आंखों का ज़रा दीदार होने दो अभी आए हो और जाने की ज़िद भी करते हो मेरी जाना अभी ठहरो इन आंखों से अभी एक जाम होने दो अभी तो दिल तुम्हे देने की खाली बात होती है अभी ये दिल मेरी जाना तुम्हारे नाम होने दो अभी ठहरो मुलाकातों का ये मौसम दोबारा फिर नहीं आता अभी ठहरो ये कुछ बाते ज़रा सी खास होने दो हमें तो इश्क करना है और बे खौफ करना है अंजाम चाहे कुछ भी हो अंजाम होने दो मेरे पत्थर दिल में मोहब्बत तुम्ही ने तो जगाई है जगाई इस मोहब्बत को अभी परवान चढ़ने दो ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #love_shayari  White अभी सूरज नहीं डूबा ज़रा सी शाम होने दो
अभी ठहरो इन आंखों का ज़रा दीदार होने दो

अभी आए हो और जाने की ज़िद भी करते हो
मेरी जाना अभी ठहरो इन आंखों से अभी एक जाम होने दो

अभी तो दिल तुम्हे देने की खाली बात होती है
अभी ये दिल मेरी जाना तुम्हारे नाम होने दो

अभी ठहरो मुलाकातों का ये मौसम दोबारा फिर नहीं आता
अभी ठहरो ये कुछ बाते ज़रा सी खास होने दो

हमें तो इश्क करना है और बे खौफ करना है
अंजाम चाहे कुछ भी हो अंजाम होने दो

मेरे पत्थर दिल में मोहब्बत तुम्ही ने तो जगाई है
जगाई इस मोहब्बत को अभी परवान चढ़ने दो

©Shoheb alam shayar jaipuri

#love_shayari लव शायरी

13 Love

White आंखों की जुबा भी पढ़ लेनी चाहिए बात आंखों की समझ लेनी चाहिए बिन कहे भी समझ जाए वो मोहब्बत की जुंबा उस शख्स में इतनी तो समझ होनी चाहिए तुझे देख कर तेरी तस्वीर मुकम्मल करलू इतनी तो मेरे यार मोहलत होनी चाहिए तमाम मसरूफियात में भी याद उसे मै आऊ उसके दिल में इतनी तो तड़प होनी चाहिए एक चुस्की में सर का दर्द चला जाए तेरे हाथों कि एक चाय कड़क होनी चाहिए देखने वाले देखे कोई ग़म है मुझे भी इस लिए कभी हांथ में सिगरट होनी चाहिए एक आवाज़ पर हम दौड़े चले आए तेरी चूड़ियों में इतनी तो खनक होनी चाहिए ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #love_shayari  White आंखों की जुबा भी पढ़ लेनी चाहिए
बात आंखों की समझ लेनी चाहिए

बिन कहे भी समझ जाए वो मोहब्बत की जुंबा
उस शख्स में इतनी तो समझ होनी चाहिए

तुझे देख कर तेरी तस्वीर मुकम्मल करलू 
इतनी तो मेरे यार मोहलत होनी चाहिए

तमाम मसरूफियात में भी याद उसे मै आऊ 
उसके दिल में इतनी तो तड़प होनी चाहिए

एक चुस्की में सर का दर्द चला जाए
तेरे हाथों कि एक चाय कड़क होनी चाहिए

देखने वाले देखे कोई ग़म है मुझे भी
इस लिए कभी हांथ में सिगरट होनी चाहिए

एक आवाज़ पर हम दौड़े चले आए
तेरी चूड़ियों में इतनी तो खनक होनी चाहिए

©Shoheb alam shayar jaipuri

#love_shayari शायरी लव रोमांटिक

11 Love

White खून से लिखीं हुई मेरी कहानी सुनोगे आज फिर मुझसे मेरी ज़ुबानी सुनोगे एक मुद्दत पहले किसी से मोहब्बत हुई थी जिंदगी अपनी भी खूब सूरत हुई थी रफ्ता रफ्ता ये मोहब्बत परवान चढ़ रही थी खत के जरिए एक दूसरे से मुलाकात चल रही थी फिर किसी रोज़ हमारा मिलना भी हुआ एक दूसरे का चेहरा बड़ी देर तक तकना भी हुआ फिर अचानक उसने मुझसे किनारा कर लिया बिछड़ जाने का मुझसे इरादा कर लिया फिर कई खत खून से लिखे मैने छोड़ जाने के सबब भी पूछे मैने मगर वो हर बात पर इंकार करने लगी मुझे वो और भी बेकरार करने लगी फिर उसकी बात एक तुम हैरानी सुनोगे कहने लगी अब इसके बाद मेरी मौत की तुम कहानी सुनोगे ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #love_shayari  White खून से लिखीं हुई मेरी कहानी सुनोगे
आज फिर मुझसे मेरी ज़ुबानी सुनोगे

एक मुद्दत पहले किसी से मोहब्बत हुई थी
जिंदगी अपनी भी खूब सूरत हुई थी

रफ्ता रफ्ता ये मोहब्बत परवान चढ़ रही थी
खत के जरिए एक दूसरे से मुलाकात चल रही थी

फिर किसी रोज़ हमारा मिलना भी हुआ
एक दूसरे का चेहरा बड़ी देर तक तकना भी हुआ

फिर अचानक उसने मुझसे किनारा कर लिया
बिछड़ जाने का मुझसे इरादा कर लिया

फिर कई खत खून से लिखे मैने
छोड़ जाने के सबब भी पूछे मैने

मगर वो हर बात पर इंकार करने लगी
मुझे वो और भी बेकरार करने लगी

फिर उसकी बात एक तुम हैरानी सुनोगे
कहने लगी अब इसके बाद मेरी मौत की तुम कहानी सुनोगे

©Shoheb alam shayar jaipuri

#love_shayari शायरी दर्द

11 Love

White जिन ख्वाबों से सवर सकती थी जिंदगी अपनी अफसोस वो ख्वाब मेरी आंख में नहीं आए जिन हाथों से बदल सकता था मुकद्दर अपना वो खुश नसीब हांथ भी मेरे हाथ में नहीं आए मोहब्बत के इम्तिहान में हम फेल हो गए इश्क़ प्यार मोहब्बत वफ़ा जैसे लफ़्ज़ सवालात में नहीं आए किसी से मेरी बाते मेरा जिक्र भी नहीं किया हम क्या इतने बुरे थे तेरे ख्यालात में नहीं आए दूर से करते रहे वो इशारे मोहब्बत के हाए अफसोस वो पास में नहीं आए मुद्दतों बाद मुलाकात का मौसम था भीगने के डर से वो बरसात में नहीं आए ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #love_shayari  White जिन ख्वाबों से सवर सकती थी जिंदगी अपनी
अफसोस वो ख्वाब मेरी आंख में नहीं आए

जिन हाथों से बदल सकता था मुकद्दर अपना
वो खुश नसीब हांथ भी मेरे हाथ में नहीं आए

मोहब्बत के इम्तिहान में हम फेल हो गए
इश्क़ प्यार मोहब्बत वफ़ा जैसे लफ़्ज़ सवालात में नहीं आए

किसी से मेरी बाते मेरा जिक्र भी नहीं किया
हम क्या इतने बुरे थे तेरे ख्यालात में नहीं आए

दूर से करते रहे वो इशारे मोहब्बत के
हाए अफसोस वो पास में नहीं आए

मुद्दतों बाद मुलाकात का मौसम था 
भीगने के डर से वो बरसात में नहीं आए

©Shoheb alam shayar jaipuri

#love_shayari

10 Love

White सांसों को अपनी सांसों का सहारा देदें चैन मिलजाएं मुझे बाहों का सहारा देदे इज़हार ए मोहब्बत पे जो लफ़्ज़ कहे थे तूने मुझे वो लफ़्ज़ मेरी जान दोबारा कहदे अपनी जान भी तेरे कदमों पे निछावर करदू बस एक बार मेरी जान तू हमारा कहदे नज़र ए बद से मेरी बचने के लिए किसी गरीब को सर से उतारा हुआ उतारा देदे मिलना चाहता हूँ तुझसे मै तन्हाई में मुस्कुराते हुए आंखों का इशारा देदे गुज़र जाए मेरी जिंदगी मोहब्बत की घनी छांव में बस इस वास्ते अपनी मोहब्बत का सहारा देदे बेचैन मेरी आंखों की तड़प मिट जाए रूबरू आके अपनी सूरत का नजारा देदे ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #love_shayari  White सांसों को अपनी सांसों का सहारा देदें 
चैन मिलजाएं मुझे बाहों का सहारा देदे

इज़हार ए मोहब्बत पे जो लफ़्ज़ कहे थे तूने
मुझे वो लफ़्ज़ मेरी जान दोबारा कहदे

अपनी जान भी तेरे कदमों पे निछावर करदू
बस एक बार मेरी जान तू हमारा कहदे

नज़र ए बद से मेरी बचने के लिए
किसी गरीब को सर से उतारा हुआ उतारा देदे

मिलना चाहता हूँ तुझसे मै तन्हाई में
मुस्कुराते हुए आंखों का इशारा देदे

गुज़र जाए मेरी जिंदगी मोहब्बत की घनी छांव में
बस इस वास्ते अपनी मोहब्बत का सहारा देदे

बेचैन मेरी आंखों की तड़प मिट जाए
रूबरू आके अपनी सूरत का नजारा देदे

©Shoheb alam shayar jaipuri

#love_shayari शायरी लव

14 Love

White दिखती थी जिस मकान की खिड़की से वो कभी ताला लगा हुआ है आज उस मकान में मिलने से तुझसे पहले बहुत साफ लफ्ज़ थे तुझे देख कर आई है लुकनत ज़ुबान में सदाएं मोहब्बत की तुझे दी बहुत मगर आवाज क्यूं गई नहीं तेरे दिल के कान में मैं आज इस मुकाम पर बर्बाद हु मगर मेरी किसी दौर में बहुत थी मोहब्बत रुझान में आने से उसके पहले एक जुट थे हम सभी उसकी वजह से आया है फर्क खानदान में बोलने से तेरे अंदाजा हुआ मुझे तहज़ीब अब कुछ नहीं तेरी ज़ुबान महफ़िल में मेरी दोस्त तुम आए क्यूं नहीं पलके बिछी हुई थी तेरे एहतराम में ©Shoheb alam shayar jaipuri

#शायरी #love_shayari  White दिखती थी जिस मकान की खिड़की से वो कभी
ताला लगा हुआ है आज उस मकान में

मिलने से तुझसे पहले बहुत साफ लफ्ज़ थे
तुझे देख कर आई है लुकनत ज़ुबान में

सदाएं मोहब्बत की तुझे दी बहुत मगर
आवाज क्यूं गई नहीं तेरे दिल के कान में

मैं आज इस मुकाम पर बर्बाद हु मगर
मेरी किसी दौर में बहुत थी मोहब्बत रुझान में

आने से उसके पहले एक जुट थे हम सभी
उसकी वजह से आया है फर्क खानदान में

बोलने से तेरे अंदाजा हुआ मुझे
तहज़ीब अब कुछ नहीं तेरी ज़ुबान

महफ़िल में मेरी दोस्त तुम आए क्यूं नहीं
पलके बिछी हुई थी तेरे एहतराम में

©Shoheb alam shayar jaipuri

#love_shayari

14 Love

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