Jindeshna

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जिनदेशना

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#विचार  Nature Quotes 🙏 आत्म प्रक्षालन 🙏
है अज्ञान अवस्था मेरी, भूल सहज हो जाती है।
जाने में अनजाने में, परिणति मलिन हो जाती है।।
प्रियवर आप सुविज्ञ स्वयं हैं, अरु वात्सल्य के धारी हैं,
जिनशासन के प्रेमी हैं, और गुणग्राही अनुरागी हैं।।
हाथ जोड़कर विनय भाव से, क्षमा भावना मैं धरता।
करें क्षमा प्रदान बन्धुवर, यह विराग निज हित कहता।।

हुई ज्ञात अज्ञात हो भूल या हो अपराध।
क्षमा भाव धारण करें, भाव करे विराग॥

©Jindeshna

क्षमा

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#विचार #delusion  मूल शास्त्र की एक लाईन भी न पढ़कर 
घंटों प्रवचन करने वाले विद्वान 
स्वीकार्य हो सकते हैं ??
विचार करना।

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#delusion

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याचक और चापलूस व्यक्ति धन और पद तो प्राप्त कर सकते हैं, पर किसी की श्रद्धा के पात्र नहीं बन सकते। ©Jindeshna

#विचार  याचक और चापलूस व्यक्ति धन और 
पद तो प्राप्त कर सकते हैं, 
पर किसी की श्रद्धा के पात्र नहीं बन सकते।

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विचार

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#विचार  आपके जैसा कोई मिलेगा नहीं 
कैसे मिलेगा कोई है ही नहीं

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kj

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#विचार  तेरे जैसा कोई मिलेगा नहीं 
कैसे मिलेगा, कोई है ही नहीं

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ऊt

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 काल चक्र जब लेता है, कई हजारों साल। 
तब जाकर पैदा होता है हुकमचंद सा लाल।।

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दादा

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