इज़हार-ए-मोहब्बत सरे आम कर दूँ,
चाहतों से अपनी तुम्हारा जाम भर दूँ,
वैसे तो हम हमेशा से तुम्हारे ही रहे हैं,
कहो तो ये बताके किस्सा आम कर दूँ।
#kitaab#ShubhamKiKalamSe
वो जज्बातों में खो जाती है,
कहते कहते ही सो जाती है,
उसको सोने-चांदी की चाह नहीं,
बस गजरे में खुश हो जाती है।
#Karwachauth#ShubhamKiKalamSe#nojohindi #Nojoto
माना जो खुदको कान्हा तो, क्या राधा कहलाओगी?
बन जाऊं मै राम अगर, सीता सा धर्म निभाओगी?
राग प्रीत के गाने को तो हम भी गाते जाएंगे,
हुए समर्पित तुम पर तो क्या प्रीत की रीत निभाओगी?
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