लिखने में अक्सर कुछ समानता होती है
अक्षरों के बंधन में कहीं ज्ञानता होती है
पन्नों का जुड़ना कभी ग्रंथ नहीं बनता,
जिल्द से ही उसकी यहाँ पूर्णता होती है
गहराई में डूबा, कभी खाली नहीं निकला
ये मानव की अनंत,असीम क्षमता होती है
पत्तों से रास्ते बेशक ही सबको गंदे दिखे
नजरिए में सबके फ़िर गहनता होती है
अपूर्णता का सार, भाव पराया सा लगा
पर ढांचे में सभी के, कुछ एकता होती है
लिखने में अक्सर कुछ समानता होती है
अक्षरों के बंधन में कहीं ज्ञानता होती है
©WRITERAKSHITAJANGID
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