Rajendra Jakhad

Rajendra Jakhad Lives in Kuchaman City, Rajasthan, India

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White छवि निरखण लागू जद थारी.. गौरी आये दर्शन बीच श्वान.. मनडा प्रित बढ़े जद थारी.. गौरी पथ रोके बीच श्वान.. है मनडा माही छवि रची बसी थारी.. पर गौरी संग म आवे श्वान.. जी भर एकर देखण ध्यो सूरत थारी.. फेर भला पाछी रख लीज्यों छवि श्वान..! ©Rajendra Jakhad

#लव  White  छवि निरखण लागू जद थारी..
गौरी आये दर्शन बीच श्वान..
मनडा प्रित बढ़े जद थारी..
गौरी पथ रोके बीच श्वान..
है मनडा माही छवि रची बसी थारी..
पर गौरी संग म आवे श्वान..
जी भर एकर देखण ध्यो सूरत थारी..
फेर भला पाछी रख लीज्यों छवि श्वान..!

©Rajendra Jakhad

White छवि निरखण लागू जद थारी.. गौरी आये दर्शन बीच श्वान.. मनडा प्रित बढ़े जद थारी.. गौरी पथ रोके बीच श्वान.. है मनडा माही छवि रची बसी थारी.. पर गौरी संग म आवे श्वान.. जी भर एकर देखण ध्यो सूरत थारी.. फेर भला पाछी रख लीज्यों छवि श्वान..! ©Rajendra Jakhad

11 Love

भक्ति के भाव से सजा है सबका मन आज मां के रंग में रंगा है सबका तन.. और बेटियां अब कुछ दिन देवी की नजर से देखी जायेगी.. कितना अच्छा है नवरात्री का आगमन..! ©Rajendra Jakhad

#भक्ति #navratri  भक्ति के भाव से सजा है सबका मन
आज मां के रंग में रंगा है सबका तन..
और बेटियां अब कुछ दिन देवी की नजर से देखी जायेगी..
कितना अच्छा है नवरात्री का आगमन..!

©Rajendra Jakhad

#navratri

11 Love

White मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा.. थोड़े से मिलन का पूरा अध्याय लिखा जायेगा.. और मोहिनी के शब्दों के प्रत्येक वर्ण का वर्णन लिखा जायेगा.. मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा.. लिखा जायेगा शब्दों का लहजा.. नैन लिखा जायेगा नक्ष लिखा जायेगा.. नया अब बिंब लिखा जायेगा.. पुरानी कल्पनाओं का पर्दा हटाकर अब नया सार लिखा जायेगा.. मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा.. केशो की वो बात लिखेंगे.. नैनों की अब याद लिखेंगे.. अधरों की मुस्कान लिखेंगे.. और मन के पटल पर अब मन का राग लिखेंगे.. क्षत्राणी सा स्वाभिमान लिखेंगे सीता सी मर्यादा लिखेंगे.. सुंदरता बस इतनी लिखेंगे सादगी का कहर लिखेंगे.. अब अध्याय आज इतना अधूरा लिखेंगे.. कल फिर मन के पटल पर मन का राग लिखेंगे..! ©Rajendra Jakhad

#लव  White मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा..
थोड़े से मिलन का पूरा अध्याय लिखा जायेगा..
और मोहिनी के शब्दों के प्रत्येक वर्ण का वर्णन लिखा जायेगा..
मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा..
लिखा जायेगा शब्दों का लहजा..
नैन लिखा जायेगा नक्ष लिखा जायेगा..
नया अब बिंब लिखा जायेगा..
पुरानी कल्पनाओं का पर्दा हटाकर अब नया सार लिखा जायेगा..
मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा..
केशो की वो बात लिखेंगे..
नैनों की अब याद लिखेंगे..
अधरों की मुस्कान लिखेंगे..
और मन के पटल पर अब मन का राग लिखेंगे..
क्षत्राणी सा स्वाभिमान लिखेंगे सीता सी मर्यादा लिखेंगे..
सुंदरता बस इतनी लिखेंगे सादगी का कहर लिखेंगे..
अब अध्याय आज इतना अधूरा लिखेंगे..
कल फिर मन के पटल पर मन का राग लिखेंगे..!

©Rajendra Jakhad

White मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा.. थोड़े से मिलन का पूरा अध्याय लिखा जायेगा.. और मोहिनी के शब्दों के प्रत्येक वर्ण का वर्णन लिखा जायेगा.. मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा.. लिखा जायेगा शब्दों का लहजा.. नैन लिखा जायेगा नक्ष लिखा जायेगा.. नया अब बिंब लिखा जायेगा.. पुरानी कल्पनाओं का पर्दा हटाकर अब नया सार लिखा जायेगा.. मन के पटल पर अब मन का राग लिखा जायेगा.. केशो की वो बात लिखेंगे.. नैनों की अब याद लिखेंगे.. अधरों की मुस्कान लिखेंगे.. और मन के पटल पर अब मन का राग लिखेंगे.. क्षत्राणी सा स्वाभिमान लिखेंगे सीता सी मर्यादा लिखेंगे.. सुंदरता बस इतनी लिखेंगे सादगी का कहर लिखेंगे.. अब अध्याय आज इतना अधूरा लिखेंगे.. कल फिर मन के पटल पर मन का राग लिखेंगे..! ©Rajendra Jakhad

10 Love

मनडा माही प्रित बढ़े है, हिवड़ो हेत करे गौरी.. हृदय री आ धड़कन बढ़े है, तनह देखण न जी करे गौरी.. निजरा री वा पहली याद बढ़े है, थारी सादगी जुल्म करे गौरी.. मनडा माही प्रित बढ़े है, हिवड़ो हेत करे गौरी.. ©Rajendra Jakhad

#लव  मनडा माही प्रित बढ़े है, हिवड़ो हेत करे गौरी..
हृदय री आ धड़कन बढ़े है, तनह देखण न जी करे गौरी..
निजरा री वा पहली याद बढ़े है, थारी सादगी जुल्म करे गौरी..
मनडा माही प्रित बढ़े है, हिवड़ो हेत करे गौरी..

©Rajendra Jakhad

मनडा माही प्रित बढ़े है, हिवड़ो हेत करे गौरी.. हृदय री आ धड़कन बढ़े है, तनह देखण न जी करे गौरी.. निजरा री वा पहली याद बढ़े है, थारी सादगी जुल्म करे गौरी.. मनडा माही प्रित बढ़े है, हिवड़ो हेत करे गौरी.. ©Rajendra Jakhad

12 Love

#लव  प्रभात की लाली खिले ज्यों राधा की मुस्कान..
पत्ता पत्ता हर्षाये, हर फूल में आये जान..
राधा भी क्या प्रीत करे, क्या लागे मोहन समान..
श्याम को देखन कब मिले जब राधा ही अनजान..

©Rajendra Jakhad

लव शायरी

90 View

#Ganesh_chaturthi #भक्ति  White बप्पा के आगमन पर पूरा शहर खिला–खिला है..
ढोल नगाड़ों का धूम हर जगह मचा है..
भक्ति के मार्ग पर प्रभु ने ये कैसा अदभुत आनंद रचा है..
आओ देखो गली गली में बप्पा का दरबार सजा है..

©Rajendra Jakhad
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