Chahat Kushwah

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a-person-standing-on-a-beach-at-sunset मुश्किल इस कदर होती है मिलकर बिछड़ने में उससे, जान निकलने के जैसी पीड़ा हृदय में होती है। लगता है अंतर मन में कोई तूफान आया हो, जो आंखों के समन्दर का बांध तोड़ देता है। बिछड़ना तो तकलीफ देता ही है ये नियति है, लेकिन उससे बिछड़ने की सोच से भी देह कांप जाया करती है। कोई कभी साथ रहता तो नहीं है चाहे संबंध कितना भी गहरा हो, फिर भी उसके आसपास होने का एहसास जीने की वजह देता है बस यही काफी है। (चाहत) ©Chahat Kushwah

#कोट्स #SunSet  a-person-standing-on-a-beach-at-sunset मुश्किल इस कदर होती है मिलकर बिछड़ने में उससे,
जान निकलने के जैसी पीड़ा हृदय में होती है।
लगता है अंतर मन में कोई तूफान आया हो,
जो आंखों के समन्दर का बांध तोड़ देता है।
बिछड़ना तो तकलीफ देता ही है ये नियति है,
लेकिन  उससे बिछड़ने की सोच से भी देह कांप जाया करती है।
कोई कभी साथ रहता तो नहीं है चाहे संबंध कितना भी गहरा हो,
फिर भी उसके आसपास होने का एहसास जीने की वजह देता है बस यही काफी है।
(चाहत)

©Chahat Kushwah

#SunSet 'हिंदी कोट्स'

15 Love

a-person-standing-on-a-beach-at-sunset एक उम्मीद थी कि लहरों के साथ किनारे तक जायेगे, हमें क्या पता था कि हमारे दरमियां के फासले दरिया नहीं सात समंदर बन जायेगे। (चाहत) ©Chahat Kushwah

#कोट्स #SunSet  a-person-standing-on-a-beach-at-sunset एक उम्मीद थी कि लहरों के साथ किनारे तक जायेगे,
हमें क्या पता था कि हमारे दरमियां के फासले दरिया नहीं सात समंदर बन जायेगे।
(चाहत)

©Chahat Kushwah

#SunSet 'हिंदी कोट्स'

15 Love

White मुझे सुबह शुभ हो तुझे शाम मुबारक हो, रंग गगन का केसरिया मद्धम पवन मुबारक हो। मेरा दिन बन जाए जब तेरा ख्वाब मुबारक हो, परदेश में तुझे देश का सलाम मुबारक हो। (चाहत) ©Chahat Kushwah

#कोट्स #good_night  White मुझे सुबह शुभ हो तुझे शाम मुबारक हो,
रंग गगन का केसरिया मद्धम पवन मुबारक हो।
मेरा दिन बन जाए जब तेरा ख्वाब मुबारक हो,
परदेश में तुझे देश का सलाम मुबारक हो।
(चाहत)

©Chahat Kushwah

#good_night गुड मॉर्निंग कोट्स

16 Love

green-leaves क्या रहा बाकी पिछले साल में, कौनसी अधूरी ख्वाहिश रही। जो खो गया जो दूर गया, उसकी कमी तो न पूरी होगी। कोशिश करो कि दुखे न मन अपनो का, इस साल भी उस साल सी ही जिम्मेदारी रहेगी। जो वक्त के पेड़ से पत्ते झड़े, उनकी साख पर फिर नई कोंपल खिलेगी। जितना भी है रहना अपनों के साथ खुशी से रहो, क्योंकि ये जिंदगी है दुबारा न मिलेगी। (चाहत) ©Chahat Kushwah

#कोट्स #GreenLeaves  green-leaves क्या रहा बाकी पिछले साल में,
कौनसी अधूरी ख्वाहिश रही।
जो खो गया जो दूर गया,
उसकी कमी तो न पूरी होगी।
कोशिश करो कि दुखे न मन अपनो का,
इस साल भी उस साल सी ही जिम्मेदारी रहेगी।
जो वक्त के पेड़ से पत्ते झड़े,
उनकी साख पर फिर नई कोंपल खिलेगी।
जितना भी है रहना अपनों के साथ खुशी से रहो,
क्योंकि ये जिंदगी है दुबारा न मिलेगी।
(चाहत)

©Chahat Kushwah

#GreenLeaves 'हिंदी कोट्स'

15 Love

Unsplash लो बीत गया एक और साल जिंदगी का, दिलो की ख्वाहिशों का कभी हिसाब न हुआ। यूं ही आहिस्ता से ढलने लगी है जिंदगी की शाम, उन्हें तो इस बात की खबर तक न होगी। उन्हें तो बस मौसम का बदलना समझ आता है, जिंदगी बदल रही है इसका एहसास तक नहीं उन्हें। (चाहत) ©Chahat Kushwah

#कोट्स #snow  Unsplash लो बीत गया एक और साल जिंदगी का,
दिलो की ख्वाहिशों का कभी हिसाब न हुआ।
यूं ही आहिस्ता से ढलने लगी है जिंदगी की शाम,
उन्हें तो इस बात की खबर तक न होगी।
उन्हें तो बस मौसम का बदलना समझ आता है,
जिंदगी बदल रही है इसका एहसास तक नहीं उन्हें।
(चाहत)

©Chahat Kushwah

#snow कोट्स इन हिंदी

11 Love

New Year 2024-25 नवम्बर में मुलाकात का तय था, इंतजार में उसकी दिसम्बर भी गया। अब तो बात पुरानी होने वाली है, कैलेंडर पर भी साल बदलने बाली है। बताओ तो क्या कारण क्या काम आ गया, जो आने का समय बताकर उसे भुलाया गया। कहा था मुझे कि बादाम खाया कर, याददाश्त तेरी कमजोर है जरा ध्यान लगाया कर। मुझे तो ये बात याद रही लेकिन, मेरी जान तू भी तो वादा निभाया कर। (चाहत) ©Chahat Kushwah

#कोट्स #Newyear2024  New Year 2024-25 नवम्बर में मुलाकात का तय था,
इंतजार में उसकी दिसम्बर भी गया।
अब तो बात पुरानी होने वाली है,
कैलेंडर पर भी साल बदलने बाली है।
बताओ तो क्या कारण क्या काम आ गया,
जो आने का समय बताकर उसे भुलाया गया।
कहा था मुझे कि बादाम खाया कर,
याददाश्त तेरी कमजोर है जरा ध्यान लगाया कर।
मुझे तो ये बात याद रही लेकिन,
मेरी जान तू भी तो वादा निभाया कर।
(चाहत)

©Chahat Kushwah

#Newyear2024-25 'हिंदी कोट्स'

16 Love

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