पहले के बुजुर्ग और फकीर
सच्ची और दिल से दुआ देते थे,
जो की लगती थी (असर करती थी)।
और अब के लोग ढोंगी या मतलबी हैं,
खाली जेब देखकर तो दुआ भी नहीं देंगे।
©Ubaida khatoon Siddiqui
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17/12/24
12:00 a. m. अनमोल विचार आज शुभ विचार अच्छे विचारों आज का विचार