( for my best friend ) है मेरा एक दोस्त ऐसा नही है | हिंदी कविता Video

"( for my best friend ) है मेरा एक दोस्त ऐसा नही है कोई उसके जैसा बेटू कह के बुलाता है बातें बड़ी प्यारी करता है मेरे कहे बिना ही मेरी हर बात समझता है है मेरा एक दोस्त ऐसा नहीं होगा कोई उसके जैसा हर वक्त मेरे साथ वो रहता है अक्सर मेरे पास वो रहता है जानना चाहता है सब मेरे विषय में पर मेरा ही जासूस बना फिरता है है मेरा एक दोस्त ऐसा.......... ये ना करना यहां ना जाना ये ना खाना खुद से ज्यादा वो मेरा ख्याल रखता है मुझे छोटी बच्ची कह खुद को बड़ा समझदार समझता है है मेरा एक दोस्त ऐसा जो हर पल मेरे साथ ही रहता है मेरी हर कही बात को वो बड़े ध्यान से सुनता है गर कहूं सुन रहे तो अक्सर ख़ामोश वो रहता है है मेरा एक दोस्त ऐसा.............. बेवजाह मैं उसे परेशान करती हूं फिर भी वो मुझसे प्यार करता है कहां जा रही हूं क्यों जा रही हूं किसके साथ जा रही हूं इन सब का ध्यान वो रखता है है मेरा एक दोस्त ऐसा जो मेरा बेहद ख्याल रखता है। नाराज़ हो जाए अगर जिंदगी मुझसे तो वो भी मायूस हो जाता है मैं टूट गिरु मोती की तरह वो वापस मुझे धागे में पिरोने की हिम्मत रखता है मेरी खुशी को वापस मेरे चेहरे पर लाने की हिम्मत रखता है उलझी हुई " प्रिया " को सुलझाने की हिम्मत रखता है है मेरा एक दोस्त ऐसा नहीं है कोई उसके जैसा ©Priya varma । "

( for my best friend ) है मेरा एक दोस्त ऐसा नही है कोई उसके जैसा बेटू कह के बुलाता है बातें बड़ी प्यारी करता है मेरे कहे बिना ही मेरी हर बात समझता है है मेरा एक दोस्त ऐसा नहीं होगा कोई उसके जैसा हर वक्त मेरे साथ वो रहता है अक्सर मेरे पास वो रहता है जानना चाहता है सब मेरे विषय में पर मेरा ही जासूस बना फिरता है है मेरा एक दोस्त ऐसा.......... ये ना करना यहां ना जाना ये ना खाना खुद से ज्यादा वो मेरा ख्याल रखता है मुझे छोटी बच्ची कह खुद को बड़ा समझदार समझता है है मेरा एक दोस्त ऐसा जो हर पल मेरे साथ ही रहता है मेरी हर कही बात को वो बड़े ध्यान से सुनता है गर कहूं सुन रहे तो अक्सर ख़ामोश वो रहता है है मेरा एक दोस्त ऐसा.............. बेवजाह मैं उसे परेशान करती हूं फिर भी वो मुझसे प्यार करता है कहां जा रही हूं क्यों जा रही हूं किसके साथ जा रही हूं इन सब का ध्यान वो रखता है है मेरा एक दोस्त ऐसा जो मेरा बेहद ख्याल रखता है। नाराज़ हो जाए अगर जिंदगी मुझसे तो वो भी मायूस हो जाता है मैं टूट गिरु मोती की तरह वो वापस मुझे धागे में पिरोने की हिम्मत रखता है मेरी खुशी को वापस मेरे चेहरे पर लाने की हिम्मत रखता है उलझी हुई " प्रिया " को सुलझाने की हिम्मत रखता है है मेरा एक दोस्त ऐसा नहीं है कोई उसके जैसा ©Priya varma ।

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