White जब मैं खुद की एक सहेली हूँ
फिर कैसे कहूँ अकेली हूँ
खुद से खुद मेें ही हॅस लेना
फिर कभी आँख भर रो लेना
मैं उलझी हुई पहेली हूँ
फिर कैसे कहूँ अकेली हूँ कभी खुशी के पल झांके
तो कभी आंसूओ का झरना
कुछ ना कहना बस चुप सा हो जाना
कभी चीख-चीख रो लेना
मैं एक अनजान पहेली हूँ
फिर कैसे कहूँ अकेली हूँ
जब मैं खुद की एक सहेली हूँ। ।
मीरा सिंह
©Meera Singh
#sad_quotes