पसंद ही नहीं मुझे ये रिवायत लोगों की कर र | हिंदी शायरी

"पसंद ही नहीं मुझे ये रिवायत लोगों की कर रहे हैं जो लोग इबादत लोगों की हद से ज्यादा तड़पाए जाते हैं इंसान हम जैसे बड़ी जल्दी लग जाती है जिन्हें आदत लोगों की तुझे भूलकर कहीं और जा दिल लगाऊं मैं बहुत बुरी लगती है मुझे ये हिदायत लोगों की अकेला छोड़ दें हमको तेरे खयालों के साथ क्या नहीं हो सकती हम पे ये इनायत लोगों की तेरी करवटों का शोर किसी को सोने नहीं देता बहुत आ रही है अब ये शिकायत लोगों की मोहब्बत से मोहब्बत को इक बात कहनी है मैदान में आ, और फिर देख बगावत लोगों की ©M V BHARTI"

 पसंद  ही  नहीं  मुझे  ये  रिवायत  लोगों  की 
कर  रहे  हैं  जो  लोग  इबादत  लोगों  की

हद से ज्यादा तड़पाए जाते हैं इंसान हम जैसे 
बड़ी जल्दी लग जाती है जिन्हें आदत लोगों की

तुझे  भूलकर  कहीं  और  जा  दिल  लगाऊं  मैं
बहुत बुरी लगती है मुझे ये हिदायत लोगों की

अकेला  छोड़  दें  हमको तेरे खयालों के साथ
क्या नहीं हो सकती हम पे ये इनायत लोगों की

तेरी करवटों का शोर किसी को सोने नहीं देता
बहुत  आ  रही  है अब ये शिकायत लोगों की

मोहब्बत  से  मोहब्बत  को इक बात कहनी है
मैदान में आ, और फिर देख बगावत लोगों की

©M V BHARTI

पसंद ही नहीं मुझे ये रिवायत लोगों की कर रहे हैं जो लोग इबादत लोगों की हद से ज्यादा तड़पाए जाते हैं इंसान हम जैसे बड़ी जल्दी लग जाती है जिन्हें आदत लोगों की तुझे भूलकर कहीं और जा दिल लगाऊं मैं बहुत बुरी लगती है मुझे ये हिदायत लोगों की अकेला छोड़ दें हमको तेरे खयालों के साथ क्या नहीं हो सकती हम पे ये इनायत लोगों की तेरी करवटों का शोर किसी को सोने नहीं देता बहुत आ रही है अब ये शिकायत लोगों की मोहब्बत से मोहब्बत को इक बात कहनी है मैदान में आ, और फिर देख बगावत लोगों की ©M V BHARTI

#Rose तुझे भूलकर कहीं और जा दिल लगाऊं मैं
बहुत बुरी लगती है मुझे ये हिदायत लोगों कीPrince Swami @suman kadvasra Palvi Chalana manraj kaur @Ritika Gupta

People who shared love close

More like this

Trending Topic