मैं कैसे उसको तकलीफ़ पहुँचा सकता हूँ,जिसे मैंने बड़ी ही मन्नतों से पाया है,
मैं किस प्रकार से उसके बिना जी सकता हूँ , जिसका मैंने बहुत प्यार पाया है।
मेरा कोई भी फैसला आजतक , बिल्कुल भी उसका दिल नहीं दुखा पाया है ,
मैंने उसका अनादर कभी नहीं किया, मैंने तो उसे प्यार करने के लिए पाया है।
- देवेंद्र कुमार
आज का दिन मेरे लिये खास हैं
क्यौंकि ,
इस दिन से जुड़े मेरे जज्बात और एहसास हैं
रहता हैं हर पल इस दिन का ही इंतज़ार मुझे
ये जरूरी तो नही कोई दूर हैं या पास हैं
आज का दिन बस मेरे लिये बहुत खास हैं !!
~~☆shona☆~~
आज का दिन मेरे लिये खास हैं
क्यौंकि ,
इस दिन से जुड़े मेरे जज्बात और एहसास हैं
रहता हैं हर पल इस दिन का ही इंतज़ार मुझे
ये जरूरी तो नही कोई दूर हैं या पास हैं
आज का दिन बस मेरे लिये बहुत खास हैं !!
~~☆shona☆~~
Continue with Social Accounts
Facebook Googleor already have account Login Here