हे मनुष्यों... सीप समुद्र में पायी जाती है, फिर भी वह समुद्र का खारा जल नहीं l पिती है l वह स्वाती का जल पिती है l और सागर की सुन्दरता बढाती है l ©Virendra Ku.
1 Stories
Will restore all stories present before deactivation.
It may take sometime to restore your stories.
Continue with Social Accounts
Facebook Googleor already have account Login Here