White खुद से खुद का प्रतिशोध है
खुद से खुद का विरोध है,,
खुद ही खुद के विकास मे
बने जा रहा गतिरोध है,,
कहा जा रहा, क्यों जा रहा
इस बात का कहा बोध है,,
मेरी पहचान थी एकता की
वह एकता बनी अब शोध है,,
जिसने जैसा कहा वैसा सुना
खुद को समझता अबोध है,,
जरा जरा सी बात पर बिगडु
मुझ पर सवार केसा क्रोध है,,
खुद ही खुद का नुकसान करू
इसका कहा अब आत्मबोध है,,
खुद से खुद का खत्म करना
अब मुझे तो प्रतिशोध है,
सफलता बाह फैलाये ख़डी
नव सवेरे का नव प्रबोध है,,
सब को अपना बना चलु
मन से मन को मिला चलु
खुद से खुद का ये अनुरोध है....
26-11-2024
✍️नितिन कुवादे....
©Nitin Kuvade
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