White युद्ध के लिए तैयार
हिस्से के युद्ध खुद लड़ने पड़ेंगे,
हाथ में तलवार हो, न हो भाल।
निर्भीक होकर रण में कूद पड़,
यह न सोच अब, जीत मिले या हार।
मन में धैर्य, आँखों में आग,
संघर्ष की राह पर, ना हो कोई भाग।
हर कदम पर होगा एक नया अनुभव,
सपनों को साकार करने का है ये उत्सव।
जब तक तुम ना थक जाओ,
कदम बढ़ाते जाओ, आगे बढ़ते जाओ।
जीवन की इस जंग में, तुम नहीं अकेले,
साथ है अपने सपने, और है अपने छाले।
हर हार में छिपी है एक नई सिख,
हर जीत में है संघर्ष की मिठास।
इस रणभूमि में तुम बनो योद्धा,
खुद से करो मुकाबला, ये है असली अभ्यास।
©Navneet Thakur
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