Unsplash बड़ी दास्तां लिखने बैठे थे अपने इश्क की
आज किताब खोली तो तेरी याद आ गई
लिखा करते थे जिनको हम ख्वाबों में
आज वो पुरानी किताब हमे नजर आ गई
©Poet Kuldeep Singh Ruhela
#Book बड़ी दास्तां लिखने बैठे थे अपने इश्क की
आज किताब खोली तो तेरी याद आ गई
लिखा करते थे जिनको हम ख्वाबों में
आज वो पुरानी किताब हमे नजर आ गई