White जय परमेश्वर जमीनमाता कोनसा पापकरतीहे जीससेअ | हिंदी शायरी

"White जय परमेश्वर जमीनमाता कोनसा पापकरतीहे जीससेअब पहलेकासा!रीजकवगेरानही होताहे क्युंकि जमीनमातातो ऐसीसतीहे किसीरफःजलकाही अहारकरतीहेःकि जमीनमाता जलका अहार जबकरतीहे किजब जलबरसताहे सोसब जहांनके लोग अपनी२आंखोंसे देखतेहीहें कुछ-मेरेकहनेकी जरुरतहीनहीहे ओर यह;बनीये-जबकि जमीनमाताके नांमका पापकरातेहें जब जमीनमाता बीमारहोजातीहे सोजीसतरहसेकि आद‌मी बीमारीकेसबबसे खाने पीनेका अहारवगेरा कमकरताहे सोजबकि कमबरसताहे जबदुनीयां अपनेमुहसे काल२कहतीहे परंन्तु यहबनीये.जमीनमाताके नांमका पापकरातेहें-जीससे जमीनमाता बीमारहोजा.तीहे.... ( ३४ ) अज तसनीफ साध अनुपदास लीखी- कीताब - [ जगतहीतकारनी ] ( २७४ ) तमांम पढ़कर बंन्दोबस्त करो छावणी ऐरनपुरामें, शिवगंज - ३०७०२७ (राज.) ता १७ अप्रेल संन १९०९ झा बैसाष बुदी १२ सं॥ १९६५ M. No. :- 8905653801 www.jagathitkarnioriginal.org ©जगत हितकारनी 274"

 White जय परमेश्वर 
जमीनमाता कोनसा पापकरतीहे जीससेअब पहलेकासा!रीजकवगेरानही होताहे क्युंकि जमीनमातातो ऐसीसतीहे किसीरफःजलकाही अहारकरतीहेःकि जमीनमाता जलका अहार जबकरतीहे किजब जलबरसताहे सोसब जहांनके लोग अपनी२आंखोंसे देखतेहीहें कुछ-मेरेकहनेकी जरुरतहीनहीहे ओर यह;बनीये-जबकि जमीनमाताके नांमका पापकरातेहें जब जमीनमाता बीमारहोजातीहे सोजीसतरहसेकि आद‌मी बीमारीकेसबबसे खाने पीनेका अहारवगेरा कमकरताहे सोजबकि कमबरसताहे जबदुनीयां अपनेमुहसे काल२कहतीहे परंन्तु यहबनीये.जमीनमाताके नांमका पापकरातेहें-जीससे जमीनमाता बीमारहोजा.तीहे.... ( ३४ )

अज तसनीफ साध अनुपदास लीखी- 
कीताब - [ जगतहीतकारनी ] ( २७४ ) तमांम पढ़कर बंन्दोबस्त करो 
छावणी ऐरनपुरामें, शिवगंज - ३०७०२७  (राज.)
ता १७ अप्रेल संन १९०९ झा बैसाष बुदी १२ सं॥ १९६५
M. No. :- 8905653801
www.jagathitkarnioriginal.org

©जगत हितकारनी 274

White जय परमेश्वर जमीनमाता कोनसा पापकरतीहे जीससेअब पहलेकासा!रीजकवगेरानही होताहे क्युंकि जमीनमातातो ऐसीसतीहे किसीरफःजलकाही अहारकरतीहेःकि जमीनमाता जलका अहार जबकरतीहे किजब जलबरसताहे सोसब जहांनके लोग अपनी२आंखोंसे देखतेहीहें कुछ-मेरेकहनेकी जरुरतहीनहीहे ओर यह;बनीये-जबकि जमीनमाताके नांमका पापकरातेहें जब जमीनमाता बीमारहोजातीहे सोजीसतरहसेकि आद‌मी बीमारीकेसबबसे खाने पीनेका अहारवगेरा कमकरताहे सोजबकि कमबरसताहे जबदुनीयां अपनेमुहसे काल२कहतीहे परंन्तु यहबनीये.जमीनमाताके नांमका पापकरातेहें-जीससे जमीनमाता बीमारहोजा.तीहे.... ( ३४ ) अज तसनीफ साध अनुपदास लीखी- कीताब - [ जगतहीतकारनी ] ( २७४ ) तमांम पढ़कर बंन्दोबस्त करो छावणी ऐरनपुरामें, शिवगंज - ३०७०२७ (राज.) ता १७ अप्रेल संन १९०९ झा बैसाष बुदी १२ सं॥ १९६५ M. No. :- 8905653801 www.jagathitkarnioriginal.org ©जगत हितकारनी 274

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