"White वो
बहुत समझदार हैं
मे
रूठने कि बाहाना ढूढता रहेता हूँ
वो
एक हि शब्द मे पानी फैला देती है
फिर मेरा ईन्तजार रहता हैं
कब मेरे सवाल का जबाब न दिया जाता हैं
वो
आन्धी जैसे आती है
मै
दरिया हो जाता हूं
चिन्मय मिश्रा"
White वो
बहुत समझदार हैं
मे
रूठने कि बाहाना ढूढता रहेता हूँ
वो
एक हि शब्द मे पानी फैला देती है
फिर मेरा ईन्तजार रहता हैं
कब मेरे सवाल का जबाब न दिया जाता हैं
वो
आन्धी जैसे आती है
मै
दरिया हो जाता हूं
चिन्मय मिश्रा