उनके खत को यूं ही छोड़ तुम तो आ गए सफीर । रांझा इं
"उनके खत को यूं ही छोड़ तुम तो आ गए सफीर ।
रांझा इंतजार में बैठा था कि आज मिलेगी मेरी हीर ।
उनके स्याही की महक यूं जहन में शामिल है ।
जैसे इश्क के जहान में बस दो जान एक शरीर ।
✍️Pc..."
उनके खत को यूं ही छोड़ तुम तो आ गए सफीर ।
रांझा इंतजार में बैठा था कि आज मिलेगी मेरी हीर ।
उनके स्याही की महक यूं जहन में शामिल है ।
जैसे इश्क के जहान में बस दो जान एक शरीर ।
✍️Pc...