कल ही कहा था दिल से कि अब हम उसको भूल गये
फिर उसकी तस्वीर दिखी फिर क्या कहा था भूल गये
नहीं नहीं वही पुरानी बड़ी कहानी फिर नही सुनानी है
बस रात है अकेले है तुम्हारी याद आयी सब भूल गये
क्या झूठ है और क्या है सच अब हम ही नही जानते
नाम तुम्हारा याद है मगर अपना ढाई अक्षर भूल गये
जिंदगी बहुत ही तेजी से आगे बढ रही होगी तुम्हारी
एक हम ही अभागे रह गये है जो सारे रास्ते भूल गये
चलो बहुत हुआ खत्म करो अब तो बस एक काम है
दिल को यकीन दिलाना है हम उस नाम को भूल गये
©Sumit R Das
#Likho