तू शाश्वत है..
अटल है..
मेरे दिल की गहराईयों में..
स्मृतियों के पन्नों में यूं वर्णित हो तुम..
जिसको वक्त भी धुंधला नहीं सकता..
और तेरी प्रकृति बिल्कुल ईश्वरीय प्रकृति की तरह है..
कभी धूप तो कभी छाव तो कभी बारिश..
कभी घना कुहरा तो कभी सर्द हवाऐं..
बिलकुल तेरा मिजाज़ इसी तरह का है..
और तेरे इस प्रकृति में मैं घुल सा गया हूं..
कभी न बदलना खुद को..
क्यूंकि तेरी ये प्रकृति ही तेरी पहचान है..
बहुत अद्भुत हो तुम और अनमोल भी..
और कुछ यू छुपा कर रखा है मैंने तुझे..
जैसे शीप अपने अंदर मोती को रखता है..
यदि मोती निकालना है तो शीप को ख़त्म करना पड़ेगा...
@you're so precious for me
@IMYTMI@
🤜🤛🩷🩷💜💜
©इक _अल्फाज़@airs
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