ये जो सपने सजाती हो फिर इन्हें तोड़ देती हो
क्यों इस दिल को दुखती हो फिर जोड़ देती हो
ऐसी तमानो की तसवीर बनाना क्या जरूरी था
क्या साथ झूठ जाना हमारा जरूरी था
यूं तो मिलते रहते हम ख्वाबों में भी
यूं तसव्वुर में आना क्या जरूरी था
इस तरह ज़ख्मों को हारा नहीं करते जनाब
क्या मुस्कुराना आपका जरूरी था
©yashomitra singh
#lonely