क्यू उदास हु मै?
क्यू परेशान हु मै?
क्यू मैं रातों को सो नही पाता?
क्यू खोया खोया रहता हु मैं?
क्यू अब किसी भी काम में मन नहीं लगता?
क्यू अब कुछ भी अच्छा नही लगता?
क्यू ऐसा लगता है जैसे जिंदा लाश हु मै?
क्यू कोई मेरी जज़्बात मेरी अहसास नही समझता ?
क्यू अब मैं मैं ना रहा
आखिर क्यों?
जवाब सिर्फ तुम
बद्दुआ दी थी ना लग गई
©Ak singh
#alone