"बचपन और गिल्ली डंडा कानों में ,आज भी
वो 😱 चीख सुनाई देती है
शेखू की दाहिनी,
फूटी आँख दिखाई देती है
ये खेल मजे का लगता है पर,
मुझको मल्लो की आज भी ,
टूटी डाढ़ दिखाई देती है
#Nkpoet #Risky game..."
बचपन और गिल्ली डंडा कानों में ,आज भी
वो 😱 चीख सुनाई देती है
शेखू की दाहिनी,
फूटी आँख दिखाई देती है
ये खेल मजे का लगता है पर,
मुझको मल्लो की आज भी ,
टूटी डाढ़ दिखाई देती है
#Nkpoet #Risky game...
👍 👍 ✌ ✌ 🌹 🌹 👌