पता नहीं क्यों
पता नहीं क्यों ये कंगन-चूड़ी,साज-श्रृंगार
मुझे क्यों न भाते हैं
पता नहीं क्यों ये मेरे ही रस्ते सबसे अलग क्यों
जाते हैं
लड़कों की तरह बस वाॅच और शूज़ का ही
शौक है मुझको
एक छोटा-सा घरौंदा बनाने का शौक है
मुझको
मेक अप की जगह मेहनत कितनी ही बताओ
तो कर लूं
किसी और से प्यार करने से
अच्छा है कि
मैं मोहब्बत खुद ही से कर लूं।।
©Miss mishra
#jhalli