tags

New जिसकी रचना चाँद तारे ये जमीन सोचो जरा Status, Photo, Video

Find the latest Status about जिसकी रचना चाँद तारे ये जमीन सोचो जरा from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about जिसकी रचना चाँद तारे ये जमीन सोचो जरा.

  • Latest
  • Popular
  • Video

हे तारों की चित्रावली,मैंने हर तारे में,तुम्हारा जो चित्र बनाया है,उस आसमां में बैठा हुआ चांद,अपनी शर्माती पलकों से मुझे जो कहता है, वो सिर्फ़ तुम ही जानती हो...!!! ©Vivek

#कविता #तारे  हे तारों की चित्रावली,मैंने हर तारे में,तुम्हारा जो चित्र बनाया है,उस आसमां में बैठा हुआ चांद,अपनी शर्माती पलकों से मुझे जो कहता है, वो सिर्फ़ तुम ही जानती हो...!!!

©Vivek

Unsplash बहूत रात जागने के बावजूद. एक गहरी नींद मुझे मिली नहीं कितना बड़ा ये जहांन है फिर भी रहने के लिए दो गज़ ज़मीन मुझे मिली नहीं खुलकर रोने क़ी ख़्वाहिश थीं मेरी. पर रोने के लिए घर मेi खाली कोना मुझे मिला नहीं ©Parasram Arora

 Unsplash बहूत रात  जागने के बावजूद.
 एक गहरी नींद मुझे  मिली नहीं 

कितना बड़ा ये जहांन है 
फिर भी  रहने के लिए 
दो गज़ ज़मीन मुझे मिली नहीं 

खुलकर रोने क़ी ख़्वाहिश थीं मेरी.
पर रोने के लिए घर मेi खाली कोना मुझे मिला नहीं

©Parasram Arora

दो गज़ जमीन

15 Love

ऐ चाँद ,क्यों तेरा दीदार मुझे उनकी याद दिलाता है तुझे निहारकर बैचैन दिल को सुकून मिल जाता है देखते हैँ वो भी मुझे तुझमे कहीं ,तू उनका भी सुकून होगा कभी, शुक्रिया ऐ चाँद तू आकर हमारा मिलन करा जाता है। हमारा मिलन करा जाता है। ©Shraddha

#शायरी  ऐ चाँद ,क्यों तेरा दीदार मुझे उनकी याद दिलाता है 
तुझे निहारकर बैचैन दिल को सुकून मिल जाता है 
देखते हैँ वो भी मुझे तुझमे कहीं ,तू उनका भी सुकून होगा कभी,
शुक्रिया ऐ चाँद तू आकर हमारा मिलन करा जाता है। 
हमारा मिलन करा जाता है।

©Shraddha

# चाँद

16 Love

यह टिमटिमाते हुए तारे

144 View

#मोटिवेशनल #Motivational #सोचो #कभी #मत

#कभी #भी #ये #मत #सोचो कि तुम कमज़ोर हो; #Motivational

189 View

कुछ तो है या कुछ हुआ हुआ सा लगता है तेरी उल्फ़त में उठा धुंआ धुंआ सा लगता है तेरी निगाहें तेरी जुबाँ से मेल नहीं खातीं तेरा अंदाज-ए-बयाँ जुदा जुदा सा लगता है क्या हुआ कि किसी ने कुछ कहा तुझसे मेरी ओर बढ़ता कदम रुका रुका सा लगता है एक मुद्द्त बाद तो दिल ने पाई है रोशनी वो चिराग़ ही मुझे बुझा बुझा सा लगता है तेरी छत पे देख चाँदनी छिटकी नहीं क्या ये चाँद मुझे उखड़ा उखड़ा सा लगता है आईना-ए चश्म अश्कों से भरा न कर मेरा अक्श ही मुझे धुंधला धुंधला सा लगता है जिस मोड़ के बाद साहिल को आना था उसी मोड़ पे तूफाँ खड़ा खड़ा सा लगता है जिसे झुका पाने की जुर्रत न थी जमाने में वही सर आज झुका झुका सा लगता है तुम्हारी उदासियाँ हवायें चुरा लाई जैसे मिजाज़ उनका खफ़ा खफ़ा सा लगता है ©अज्ञात

#शायरी #चाँद  कुछ तो है या कुछ हुआ हुआ सा लगता है 
तेरी उल्फ़त में उठा धुंआ धुंआ सा लगता है 

तेरी निगाहें तेरी जुबाँ से मेल नहीं खातीं 
तेरा अंदाज-ए-बयाँ जुदा जुदा सा लगता है 

क्या हुआ कि किसी ने कुछ कहा तुझसे 
मेरी ओर बढ़ता कदम रुका रुका सा लगता है 

एक मुद्द्त बाद तो दिल ने पाई है रोशनी 
वो चिराग़ ही मुझे बुझा बुझा सा लगता है 

तेरी छत पे देख चाँदनी छिटकी नहीं क्या 
ये चाँद मुझे उखड़ा उखड़ा सा लगता है 

आईना-ए चश्म अश्कों से भरा न कर मेरा 
अक्श ही मुझे धुंधला धुंधला सा लगता है 

जिस मोड़ के बाद साहिल को आना था 
उसी मोड़ पे तूफाँ खड़ा खड़ा सा लगता है 

जिसे झुका पाने की जुर्रत न थी जमाने में 
वही सर आज झुका झुका सा लगता है 

तुम्हारी उदासियाँ हवायें चुरा लाई जैसे 
मिजाज़ उनका खफ़ा खफ़ा सा लगता है

©अज्ञात

#चाँद

21 Love

हे तारों की चित्रावली,मैंने हर तारे में,तुम्हारा जो चित्र बनाया है,उस आसमां में बैठा हुआ चांद,अपनी शर्माती पलकों से मुझे जो कहता है, वो सिर्फ़ तुम ही जानती हो...!!! ©Vivek

#कविता #तारे  हे तारों की चित्रावली,मैंने हर तारे में,तुम्हारा जो चित्र बनाया है,उस आसमां में बैठा हुआ चांद,अपनी शर्माती पलकों से मुझे जो कहता है, वो सिर्फ़ तुम ही जानती हो...!!!

©Vivek

Unsplash बहूत रात जागने के बावजूद. एक गहरी नींद मुझे मिली नहीं कितना बड़ा ये जहांन है फिर भी रहने के लिए दो गज़ ज़मीन मुझे मिली नहीं खुलकर रोने क़ी ख़्वाहिश थीं मेरी. पर रोने के लिए घर मेi खाली कोना मुझे मिला नहीं ©Parasram Arora

 Unsplash बहूत रात  जागने के बावजूद.
 एक गहरी नींद मुझे  मिली नहीं 

कितना बड़ा ये जहांन है 
फिर भी  रहने के लिए 
दो गज़ ज़मीन मुझे मिली नहीं 

खुलकर रोने क़ी ख़्वाहिश थीं मेरी.
पर रोने के लिए घर मेi खाली कोना मुझे मिला नहीं

©Parasram Arora

दो गज़ जमीन

15 Love

ऐ चाँद ,क्यों तेरा दीदार मुझे उनकी याद दिलाता है तुझे निहारकर बैचैन दिल को सुकून मिल जाता है देखते हैँ वो भी मुझे तुझमे कहीं ,तू उनका भी सुकून होगा कभी, शुक्रिया ऐ चाँद तू आकर हमारा मिलन करा जाता है। हमारा मिलन करा जाता है। ©Shraddha

#शायरी  ऐ चाँद ,क्यों तेरा दीदार मुझे उनकी याद दिलाता है 
तुझे निहारकर बैचैन दिल को सुकून मिल जाता है 
देखते हैँ वो भी मुझे तुझमे कहीं ,तू उनका भी सुकून होगा कभी,
शुक्रिया ऐ चाँद तू आकर हमारा मिलन करा जाता है। 
हमारा मिलन करा जाता है।

©Shraddha

# चाँद

16 Love

यह टिमटिमाते हुए तारे

144 View

#मोटिवेशनल #Motivational #सोचो #कभी #मत

#कभी #भी #ये #मत #सोचो कि तुम कमज़ोर हो; #Motivational

189 View

कुछ तो है या कुछ हुआ हुआ सा लगता है तेरी उल्फ़त में उठा धुंआ धुंआ सा लगता है तेरी निगाहें तेरी जुबाँ से मेल नहीं खातीं तेरा अंदाज-ए-बयाँ जुदा जुदा सा लगता है क्या हुआ कि किसी ने कुछ कहा तुझसे मेरी ओर बढ़ता कदम रुका रुका सा लगता है एक मुद्द्त बाद तो दिल ने पाई है रोशनी वो चिराग़ ही मुझे बुझा बुझा सा लगता है तेरी छत पे देख चाँदनी छिटकी नहीं क्या ये चाँद मुझे उखड़ा उखड़ा सा लगता है आईना-ए चश्म अश्कों से भरा न कर मेरा अक्श ही मुझे धुंधला धुंधला सा लगता है जिस मोड़ के बाद साहिल को आना था उसी मोड़ पे तूफाँ खड़ा खड़ा सा लगता है जिसे झुका पाने की जुर्रत न थी जमाने में वही सर आज झुका झुका सा लगता है तुम्हारी उदासियाँ हवायें चुरा लाई जैसे मिजाज़ उनका खफ़ा खफ़ा सा लगता है ©अज्ञात

#शायरी #चाँद  कुछ तो है या कुछ हुआ हुआ सा लगता है 
तेरी उल्फ़त में उठा धुंआ धुंआ सा लगता है 

तेरी निगाहें तेरी जुबाँ से मेल नहीं खातीं 
तेरा अंदाज-ए-बयाँ जुदा जुदा सा लगता है 

क्या हुआ कि किसी ने कुछ कहा तुझसे 
मेरी ओर बढ़ता कदम रुका रुका सा लगता है 

एक मुद्द्त बाद तो दिल ने पाई है रोशनी 
वो चिराग़ ही मुझे बुझा बुझा सा लगता है 

तेरी छत पे देख चाँदनी छिटकी नहीं क्या 
ये चाँद मुझे उखड़ा उखड़ा सा लगता है 

आईना-ए चश्म अश्कों से भरा न कर मेरा 
अक्श ही मुझे धुंधला धुंधला सा लगता है 

जिस मोड़ के बाद साहिल को आना था 
उसी मोड़ पे तूफाँ खड़ा खड़ा सा लगता है 

जिसे झुका पाने की जुर्रत न थी जमाने में 
वही सर आज झुका झुका सा लगता है 

तुम्हारी उदासियाँ हवायें चुरा लाई जैसे 
मिजाज़ उनका खफ़ा खफ़ा सा लगता है

©अज्ञात

#चाँद

21 Love

Trending Topic