कितना बेबस है इंसान, किस्मत के आगे.! हर सपना टूट ज | हिंदी शायरी

"कितना बेबस है इंसान, किस्मत के आगे.! हर सपना टूट जाता है हकीकत के आगे.!! ©Varun Vashisth"

 कितना बेबस है इंसान, किस्मत के आगे.!
हर सपना टूट जाता है हकीकत के आगे.!!

©Varun Vashisth

कितना बेबस है इंसान, किस्मत के आगे.! हर सपना टूट जाता है हकीकत के आगे.!! ©Varun Vashisth

#intezaar

People who shared love close

More like this

Trending Topic