समझौता कर लेते हैं, हम तेरी आँखों से, जो हमारी तरफ | हिंदी Shayari
"समझौता कर लेते हैं,
हम तेरी आँखों से, जो हमारी तरफ अब उठती नही हैं,
तेरी आदत से, जिसमें अब हम नहीं हैं,
तेरी बातों से, जिसमें अब कहीं हमारा जिक्र नही है,
कर ही लेते हैं समझौता इस बात से,
कि अब तुम हमारे नही हो..."
समझौता कर लेते हैं,
हम तेरी आँखों से, जो हमारी तरफ अब उठती नही हैं,
तेरी आदत से, जिसमें अब हम नहीं हैं,
तेरी बातों से, जिसमें अब कहीं हमारा जिक्र नही है,
कर ही लेते हैं समझौता इस बात से,
कि अब तुम हमारे नही हो...