White न लाज देखता है,न वो लिहाज़ देखता है,
बेताब दिल सिर्फ,अपना मिज़ाज देखता है।
न रिवाज़ देखता है,न वो समाज देखता है,
बेताब दिल सिर्फ,अपना मिज़ाज देखता है।
इश्क़ है धन उसका,माशूक है तमन्ना उसकी,
बेताब दिल कल नहीं,सिर्फ आज देखता है ।
बीमार कोई और पड़े,पर नज़र तो खुद पे है,
बेताब दिल सिर्फ,अपना इलाज देखता है ।
©ANIL KUMAR,)
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