देर रात तक उंगलियां मोबाइल पर चलती है
कोने में बैठ तन्हाई
मेरे अकेलेपन पर
....जोर जोर से हंसती है
इनकमिंग कॉल का सन्नाटा मेरा मजाक बनाता है
इतने दोस्त होने के बावजूद
कोई साला एक फोन नहीं कर पाता है
अब तो इस फोन की घंटी
बस मेरे सपनों में बजती है
कोने में बैठ तन्हाई
मेरे अकेलेपन पर
... जोर जोर से हंसती है
©Mannu Mauryavanshi
#Quote #
#CalmingNature