वक़्त बेवक्त उसका आना हो ही जाता है , इसे तलब कहूं | हिंदी Shayari Vid
"वक़्त बेवक्त उसका आना हो ही जाता है ,
इसे तलब कहूं या कहूं फिर इश्क !!
यूं ही बेवजह सोचता रहता है,
कम्बख़त ख्वाब को हकीकत समझ बैठा है ।।
इस दिल का कसूर ही है ,
जो ये उस एक मुलाकात को इश्क समझ बैठा है !!
@लेखकRai
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वक़्त बेवक्त उसका आना हो ही जाता है ,
इसे तलब कहूं या कहूं फिर इश्क !!
यूं ही बेवजह सोचता रहता है,
कम्बख़त ख्वाब को हकीकत समझ बैठा है ।।
इस दिल का कसूर ही है ,
जो ये उस एक मुलाकात को इश्क समझ बैठा है !!
@लेखकRai