बहुत बेचैन हो साथ हमारे तो,
निकलते हुए आंजाता है जब कभी दिल मेरा,मैं अपने पर्स में रखी माँ की तस्वीर को देख लेता हूँ।
रूठी जो जिदंगी तो मना लेंगे हम,
मिले जो गम वो भी सह लेंगे हम,
बस आप रहना हमेशासुओं में भी मुस्कुरा लेंगे हम।🙏🙏❤️❤️👌🏽👍
©Ramdayal Kumar