New Year 2024-25 बीत गया पर कहानी लिखकर गया - इसमें,
महफ़िल में कहकहे और आँखे बेकरार रही हैं,
मंज़िल मिली नहीं तो क्या बात हुई निश्छल
सफ़र तय करने में कई बातें यादगार रही हैं ,
जो गुज़र रहा है इतनी ख़ामोशी और सर्द में,
इसके कई दिन गर्म और रातें गुलजार रही हैंl
@ निश्छल किसलय
@bye bye 2024 welcome 2025
Happy new year and Happy new in you
©"निश्छल किसलय" (KISALAY KRISHNAVANSHI)
#Newyear2024-25