शिवस्य हृदयं विष्णुः, विष्णोश्च हृदयं शिवः।
यथा शिवमयो विष्णुः, एवम् विष्णुमयः शिवः॥
अर्थ:
भगवान शिव के हृदय में भगवान विष्णु विराजमान हैं, और भगवान विष्णु के हृदय में भगवान शिव। जिस प्रकार विष्णु शिवमय हैं, उसी प्रकार शिव विष्णुमय हैं।
यह श्लोक हमें सिखाता है कि शिव और विष्णु एक-दूसरे के पूरक हैं, और उनमें कोई भेद नहीं है। दोनों का पूजन एक ही सत्य की उपासना है।