सबका जीवन बीत रहा है मुश्किलों से लड़ने में
अंतर साहस रीत रहा है कर्म-पथ पर चलने में
संघर्ष ही जीवन यथार्थ है बाकी सब हैं भ्रम प्यारे
संघर्ष ही जीवन सत्य है इसमें कोई दोराह नहीं
जब मन में हो इच्छा प्रबल फिर पथ की कोई परवाह नहीं
जो मंज़िल पाना चाहता है तो शूलों से घबराना कैसा?
शारीरिक सुखों की खातिर पथ बाधाओं से डर जाना कैसा?
संघर्ष की ज्वाला में जलकर तू कंचन बन जाएगा
अंतर शक्ति के बल पर स्वर्णिम भविष्य ले आएगा
कर्म-पथ ही एकल विकल्प है अपनी मंज़िल तक जाने का
संघर्ष ही एकल विकल्प है अनंत कीर्ति को पाने का l
pandey amit .
#sangharsh