बहुत कुछ नया मिला और मिलता रहेगा मगर वो जो
किताबों में मिला करते थे सूखे फूल और उनकी महक,
किताब माँगने के बहाने जो रिश्ते बनते थे वो को गए कहीं,
वो जाने अब कहा होंगे...!!
जानबूझ कर किताब को गिरकर उठाने के बहाने, उसे देखना
जाने अब कहा होगा...!!
किताबों के साथ के वो रिश्ते दोस्ती सब जाने कहा खो गई,
आयेगी या नहीं लौट कर...!!
©Heer
#reading